शुक्रवार, 18 फ़रवरी 2011

Release 1028 कोई भारत वासी आपका आदेश मानने को विवश नही क्यों की आपकी नीव दैत्य तंत्र की है लोक तंत्र की नही, जब लोक तंत्र होगा तब मानेंगे



कोई भारत वासी आपका आदेश मानने को विवश नही 
क्यों की आपकी नीव दैत्य तंत्र की है लोक तंत्र की नही, 
जब लोक तंत्र होगा तब मानेंगे
भारत सरकार बोली आप की प्रार्थना मे तहजीव नही है, तालमेल नही है, खतम की जाती है,
पूरा देखने के लिये 28.जन 2011 की कार्यवाही देखें यहां क्लिक करें

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें